बाघ संरक्षित क्षेत्र (Tiger Protected Areas) वह क्षेत्र हैं जिन्हें प्रोजेक्ट टाइगर (Project Tiger) के तहत अधिसूचना के अंतर्गत संरक्षित किया गया है। वर्तमान में (2020) तक भारत के बाघ अभ्यारिंयों की कुल संख्या 50 है। भारत सरकार द्वारा बाघों के संरक्षण के लिए वर्ष
Continue Reading..संपूर्ण विश्व के राष्ट्रों द्वारा विकास की दौड़ में पर्यावरणीय संतुलन तेजी से बिगड़ता जा रहा है। पर्यावरणीय प्रदूषण (Environmental pollution) के प्रमुख कारणों में तेजी से बढ़ती जनसँख्या, शहरीकरण, औद्योगिक क्रांति और प्राकृतिक संसाधनों के अंधाधुंध दोहन के फलस्वरूप संपूर्ण विश्व में पर्यावरणीय प्रदूषण के
Continue Reading..भारत सरकार द्वारा पर्यावरण व् वन्यजीव संरक्षण (Environment and Wildlife Conservation) के क्षेत्र में विशेष कार्य करने वाले व्यक्तियों को प्रोत्साहन देने के लिए फ़ेलोशिप और पुरस्कार कार्यक्रम चलाया जा रहा है, यह पुरस्कार उन व्यक्तियों के के नाम पर दिया जाता है जो भारत
Continue Reading..पारिस्थितिकी तंत्र की समस्या को मुख्यत: दो भागो में विभाजित किया जा सकता है | स्थलीय पारिस्थितिकी तंत्र की समस्या जलीय पारिस्थितिकी तंत्र की समस्या स्थलीय पारिस्थितिकी तंत्र की समस्या यह एक व्यापक अर्थ वाला शब्द है, जिसके अंतर्गत वृक्षों का कटान, पेड़ो का गिरना, मवेशियों का चरना आदि
Continue Reading..वर्ष 1971 में ईरान (Iran) में आयोजित रामसर सम्मेलन (Ramsar conference) के अनुसार आर्द्रभूमि निम्न रूप में परिभाषित किया जा सकता है | जैसे – दलदल (Marsh), पंकभूमि (Fen), पिटभूमि, जल, कृत्रिम या अप्राकृतिक, स्थायी या अस्थायी , स्थिर जल या गतिमान जल, ताजा पानी , खारा व
Continue Reading..मैंग्रोव शब्द की उत्पति पुर्तगाली शब्द “मैग्यू” तथा अंग्रेजी शब्द “ग्रोव” से मिलकर हुई है | मैंग्रोव का उदगम स्थल भारत मलय क्षेत्र को है, क्योकिं आज भी इस क्षेत्र में विश्व के सबसे अधिक मैंग्रोव प्रजातियाँ पाई जाती है | मैंग्रोव खारे पानी (Salt water) तथा ताजे पानी वाले स्थानों
Continue Reading..स्वच्छ जल पारितंत्र को पुन: दो भागों में विभाजित किया जा सकता है − जल पारितंत्र (Lotic Ecosystem) − बहता हुआ जल (नदियाँ) स्थिर जल (Lentic Ecosystem) − झील व तालाब इन दोनों ही पारितंत्र में अत्यधिक समानतऍ पाई जाती है, अत: दोनों ही पारितंत्र को झील पारितंत्र
Continue Reading..संक्रमणकालीन जलीय पारितंत्र को मुख्यत: तीन भागों में विभाजित किया जा सकता है : ज्वारनदमुख पारितंत्र (Estuaries ecosystem) आर्द्र पारितंत्र (Wetland ecosystem) मैंग्रोव पारितंत्र (Mangrove ecosystem) ज्वारनदमुख पारितंत्र जब नदियां डेल्टा न बनाकर सीधे समुद्र में मिल जाती है, तब ज्वारनदमुख (Estauries) का निर्माण होता है, इसी
Continue Reading..सागरीय पारितंत्र को मुख्यत: 4 भागों में विभाजित किया जा सकता है – खुला समुद्र (Open Sea) बैरियर द्वीप (Barrier Island) तट रेखा (Shorelines) प्रवाल भित्ति (Coral Reef) खुला समुद्र (Open Sea) समुद्री पारिस्थितिकी तंत्र में आहार श्रृंखला सूर्य के प्रकाश , ऑक्सीजन () व
Continue Reading..स्थलीय भाग के समान ही जलीय पारितंत्र भी तापमान , पोषक तत्वों की उपलबध्ता, प्रकाश , जलधारा व लवणता से प्रभावित होता है | इसे मुख्यत: 3 भागों में विभाजित किया जा सकता है – अलवणजलीय पारितंत्र (Freshwater Ecosystem) समुद्री/सागरीय पारितंत्र (Marine Ecosystem) संक्रमणकालीन पारितंत्र
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